हर किसी को अपना वास्ता मत देना
नसीब जाग उठे तो ख़ुदा मत देना !
मज़ाक बहुत बना डालेगी दुनिया
दिल का अपने कभी रास्ता मत देना !
यहाँ किसी को भी तेरी परवाह नहीं है
हर किसी को अपना पता मत देना !
बिगड़ जाएगी तेरे ज़ख्मों की सूरत
बस घाव किसी को दिखा मत देना !
दर्द के नगर पर नगर बस जायेंगे
ज़िन्दा सपनों को दफना मत देना !
एक दरिया बना है आग का वह तो
उस को कभीभी तुम हवा मत देना !
बुरा मान जायेगा बहुत जल्दी वह
उसको कभी भी मश्वरा मत देना !
वफ़ा नहीं कर सको तो मत करना
मगर किसी को भी दगा मत देना !
नसीब जाग उठे तो ख़ुदा मत देना !
मज़ाक बहुत बना डालेगी दुनिया
दिल का अपने कभी रास्ता मत देना !
यहाँ किसी को भी तेरी परवाह नहीं है
हर किसी को अपना पता मत देना !
बिगड़ जाएगी तेरे ज़ख्मों की सूरत
बस घाव किसी को दिखा मत देना !
दर्द के नगर पर नगर बस जायेंगे
ज़िन्दा सपनों को दफना मत देना !
एक दरिया बना है आग का वह तो
उस को कभीभी तुम हवा मत देना !
बुरा मान जायेगा बहुत जल्दी वह
उसको कभी भी मश्वरा मत देना !
वफ़ा नहीं कर सको तो मत करना
मगर किसी को भी दगा मत देना !
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